Friday, May 17, 2024
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ऐसा अभागा पृथ्वी पर कौन, निमंत्रण मिलने पर ठुकराते हैं : यादव

भोपाल: मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने श्री राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह के निमंत्रण को ठुकराने के कांग्रेस के केंद्रीय नेतृत्व के कदम को लेकर आज एक बार फिर हमला बोलते हुए कहा कि ऐसा अभागा पृथ्वी पर कौन होगा, जो ऐसा निमंत्रण मिलने पर उसे ठुकराएगा और श्री महाकाल से ऐसे लोगों को सद्बुद्धि देने की प्रार्थना है।
डॉ यादव ने आज राजधानी भोपाल से अयोध्या के लिए पांच लाख लड्डुओं का प्रसाद ट्रकों के माध्यम से रवाना किया। ये लड्डू उज्जैन की श्री महाकाल मंदिर प्रबंधन समिति की ओर से तैयार कराए गए हैं। डॉ यादव इसी समारोह को संबोधित कर रहे थे।
इस दौरान उन्होंने कहा कि मंदिर बनाने वाले मंदिर बना रहे है, प्रतिष्ठा करने वाले प्रतिष्ठा कर रहे है, कुछ लोग ऐसे हैं जो निमंत्रण मिलने के बाद भी उसे ठुकरा रहे हैं, क्या दुर्भाग्य है, ऐसा अभागा पृथ्वी पर कौन हो सकता है।
उन्होंने कहा कि हम उनके लिए सद्भावना की कामना करते हैं। भगवान महाकाल उन्हें सद्बुद्धि दे। हो सकता है कि 22 तारीख तक उन्हें समझ आ जाए और वे भी भगवान श्री राम के स्वरुप को निहारें और दर्शन करने जाएं।
डॉ यादव ने कहा कि अयोध्या का मंदिर सम्राट विक्रमादित्य द्वारा बनाया गया था। अयोध्या का उज्जैन से संबंध बनाने का जो समर्पण था, एक तरह से वापस वो युग हमारे अपने सामने पलट रहा है। एक बार फिर भगवान राम अपने गर्भगृह में 500 साल के संघर्ष के बाद प्रवेश कर रहे हैं। मध्यप्रदेश की धरती से 2000 साल पहले भी यह घटना घटी थी।
मुख्यमंत्री ने उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के संदर्भ में कहा कि उन्होंने बताया था कि अयोध्या का वर्तमान रूप 2000 साल पहले सम्राट विक्रमादित्य के काल का है, पूरी अयोध्या का जीर्णोधार करके वापस नया रूप देकर बनाया गया है।
डॉ यादव ने कहा कि महर्षि वाल्मीकि के माध्यम से श्री राम के जीवन के विविध प्रसंगों को जन-जन तक पहुंचाने का काम हुआ है। भगवान राम को आए और गए 17 लाख साल हो गए, लेकिन इतने साल बाद भी वो घटना ऐसे लगती है, जैसे कल की बात हो।

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